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लखनऊ 29 दिसंबर । उत्तर प्रदेश के बिजली उपभोक्ताओं के लिए नए साल की शुरुआत राहत भरी होने जा रही है। जनवरी 2026 से प्रदेश के उपभोक्ताओं को बिजली बिल में सीधा फायदा मिलेगा। पावर कॉरपोरेशन द्वारा जारी नए आदेश के अनुसार जनवरी माह में बिजली उपभोक्ताओं को 2.33 प्रतिशत कम बिजली बिल जमा करना होगा। जानकारी के मुताबिक अक्टूबर माह के ईंधन अधिभार शुल्क (Fuel Surcharge Adjustment – FSA) का समायोजन जनवरी 2026 में किया जाएगा। राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद का कहना है कि इस निर्णय से प्रदेश के बिजली उपभोक्ताओं को लगभग 141 करोड़ रुपये का सीधा लाभ मिलेगा। उल्लेखनीय है कि सितंबर माह का ईंधन अधिभार दिसंबर में 5.56 प्रतिशत की दर से वसूला गया था, जिससे उपभोक्ताओं पर करीब 264 करोड़ रुपये का अतिरिक्त भार पड़ा था। वहीं वर्तमान स्थिति में उपभोक्ताओं का लगभग 33,122 करोड़ रुपये का सरप्लस बिजली कंपनियों के पास जमा है। इसके अलावा चालू वित्तीय वर्ष में करीब 18,592 करोड़ रुपये और जुड़ने की संभावना जताई जा रही है।

नए साल में बिजली उपभोक्ताओं के लिए सुनहरा दौर

प्रदेश में ट्रांसमिशन डिमांड बेस्ड टैरिफ पहले ही लागू किया जा चुका है और नई बिजली दरें प्रभावी हैं। ऐसे में आने वाले महीनों में भी ईंधन अधिभार शुल्क में और कमी जारी रहने की संभावना है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह कदम उपभोक्ताओं के हित में सकारात्मक संकेत है और बिजली बिलों में स्थिरता लाने में सहायक होगा। इस बीच विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति ने मुख्यमंत्री से हस्तक्षेप की अपील की है। समिति का कहना है कि प्रदेश के विद्युत वितरण निगमों में रिस्ट्रक्चरिंग के नाम पर संविदा कर्मियों की बड़े पैमाने पर हो रही छंटनी और हजारों पदों को समाप्त किए जाने की प्रक्रिया को रोका जाना चाहिए। कुल मिलाकर, नए साल की शुरुआत प्रदेश के बिजली उपभोक्ताओं के लिए राहत और उम्मीद लेकर आ रही है।

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