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लखनऊ 11 नवंबर । उत्तर प्रदेश सरकार के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री ए.के. शर्मा ने प्रदेश के करोड़ों बिजली उपभोक्ताओं के हित में एक ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए “बिजली बिल राहत योजना 2025” लागू करने की घोषणा की है। इस योजना के अंतर्गत नेवरपेड और लॉन्ग अनपेड उपभोक्ताओं को सुविधा मिलेगी। यह बात प्रदेश के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री ए.के. शर्मा ने संगम सभागार में प्रेस वार्ता कर बताया। इस दौरान उनके साथ अपर मुख्य सचिव नरेंद्र भूषण, चेयरमैन आशीष गोयल एवं एमडी पंकज कुमार भी मौजूद रहे। विद्युत बिल राहत योजना 2025 के अंतर्गत बकाया धनराशि को एक मुश्त जमा करने पर सरचार्ज में 100 प्रतिशत एवं मूलधन में 25 प्रतिशत तक छूट देने का ऐतिहासिक निर्णय लिया गया है। ऊर्जा मंत्री ने इस योजना को जनता के लिए “सरकार का उपहार और जनसहभागिता से जुड़ी अभूतपूर्व पहल” बताया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार का उद्देश्य है कि कोई भी उपभोक्ता बिजली बिल के बोझ तले दबा न रहे और साथ ही राज्य की बिजली वितरण व्यवस्था आर्थिक रूप से सुदृढ़ बने। इस योजना से एक ओर जहां सरकारी खजाने में भारी राजस्व की वृद्धि होगी, वहीं दूसरी ओर घरेलू व वाणिज्यिक उपभोक्ताओं को बड़ी आर्थिक राहत प्राप्त होगी। इस योजना के लिए पंजीकरण प्रक्रिया को अत्यंत सरल बनाया गया है। उपभोक्ता विभागीय वेबसाइट www.uppcl.org पर, संबंधित खंड/उपखंड कार्यालय, जन सेवा केंद्र (CSC) एवं किसी भी विभागीय कैश काउंटर से पंजीकरण कर सकते हैं। पंजीकरण के संबंध में मंत्री शर्मा ने स्पष्ट निर्देश दिए कि किसी भी उपभोक्ता को प्रक्रिया में कोई कठिनाई न हो और सभी आवेदन समयबद्ध एवं पारदर्शी तरीके से स्वीकार किए जाएं साथ ही पूरी प्रक्रिया की सतत निगरानी भी की जाए।

ऊर्जा मंत्री शर्मा ने बताया कि योजना के अंतर्गत यदि कोई उपभोक्ता अपना बिजली बिल एकमुश्त जमा करता है, तो उसे सरचार्ज में 100 प्रतिशत के साथ-साथ बकाए के मूलधन में 25 प्रतिशत छूट मिलेगी। यह छूट तीन चरणों में दी जाएगी। प्रथम चरण (1 दिसंबर 2025 से 31 दिसंबर 2025 तक) पंजीकरण कराने पर 25 प्रतिशत, द्वितीय चरण (1 जनवरी 2026 से 31 जनवरी 2026 तक) में 20 प्रतिशत तथा तृतीय चरण (1 फरवरी 2026 से 28 फरवरी 2026 तक) पंजीकरण कराने में 15 प्रतिशत की छूट दी जाएगी। मंत्री शर्मा ने कहा, “जो उपभोक्ता पहले पंजीकरण कर भुगतान करेंगे, उन्हें अधिक लाभ मिलेगा। इसलिए प्रदेश के नागरिकों से अपील है कि वे योजना के प्रथम चरण में ही भाग लें।

घरेलू और वाणिज्यिक दोनों वर्गों को लाभ

यह योजना घरेलू उपभोक्ताओं (2 किलोवाट तक) और वाणिज्यिक उपभोक्ताओं (1 किलोवाट तक) दोनों के लिए लागू होगी।इतना ही नहीं, बिजली चोरी से संबंधित प्रकरणों में राजस्व निर्धारण धनराशि पर भी छूट देने का प्रावधान किया गया है। इससे उन उपभोक्ताओं को भी राहत मिलेगी जो अनजाने में तकनीकी अथवा मीटर संबंधी त्रुटियों के कारण विवादों में फंसे हुए थे।

मासिक किस्तों में भुगतान की सुविधा, गरीब उपभोक्ताओं के लिए राहत

ऊर्जा मंत्री ने कहा कि सरकार ने गरीब और मध्यमवर्गीय उपभोक्ताओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए मासिक किस्तों में भुगतान की सुविधा भी दी है। इससे वे उपभोक्ता, जो एकमुश्त भुगतान करने में असमर्थ हैं, वे भी योजना का लाभ उठाकर अपने बकाया बिलों का निस्तारण कर सकते हैं। यह कदम प्रदेश के लाखों छोटे उपभोक्ताओं को आर्थिक सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता की दिशा में आगे बढ़ाने वाला होगा।

ओवर बिलिंग व अंडर बिलिंग वाले उपभोक्ताओं के लिए भी राहत

शर्मा ने कहा कि योजना के दौरान विभाग ओवर बिलिंग और अंडर बिलिंग वाले उपभोक्ताओं के बिलों का भी संशोधन करेगा, जिससे उपभोक्ताओं पर अतिरिक्त वित्तीय भार न पड़े और उन्हें सही व पारदर्शी बिलिंग का लाभ मिले। उन्होंने कहा कि “यह केवल एक छूट योजना नहीं, बल्कि उपभोक्ता के विश्वास और पारदर्शिता को पुनः स्थापित करने की मुहिम है। ऐसे उपभोक्ताओं को बिल की धनराशि जमा करने हेतु एक मासिक औसत धनराशि निधारित की गई है। बिलिंग सिस्टम द्वारा इन उपभोक्ताओं के विद्युत बिल, नारमेटिव धनराशि के आधार पर संसोधित किए जायेंगे।

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