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अलीगढ़ 01 सितंबर ।  मंगलायतन विश्वविद्यालय के पैरामेडिकल इंस्टीट्यूट आफ वोकेशनल एजुकेशन की ओर से “डिकोड माइक्रोब्स थ्रू स्टेंस” विषय पर वेबिनार का आयोजन किया गया। जिसमें विद्यार्थियों, प्राध्यापकों व तकनीशियनों ने हिस्सा लिया। वक्ताओं ने कहा कि स्टेनिंग तकनीकों की समझ न केवल माइक्रोब्स की पहचान में सहायक है, बल्कि मेडिकल डायग्नोसिस व शोध कार्यों की नींव भी है।
मुख्य वक्ता हिंद इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज, सीतापुर के माइक्रोबायोलॉजिस्ट एवं बैक्टीरियोलॉजी इंचार्ज डा. आनंद शर्मा एवं मंगलायतन विश्वविद्यालय के सहायक प्राध्यापक व माइक्रोबायोलॉजिस्ट विनोद कुमार रहे। उन्होंने प्रतिभागियों को सूक्ष्मजीव विज्ञान में स्टेनिंग तकनीकों के महत्व से अवगत कराया। विशेषज्ञों ने बताया कि सूक्ष्मजीवों की पहचान, वर्गीकरण, उनकी संरचना को समझने में विभिन्न प्रकार की स्टेनिंग विधियां (सिंपल स्टेन, ग्राम स्टेन, एसिड-फास्ट स्टेन, एंडोस्पोर, कैप्सूल और फ्लैजेला स्टेन) कितनी उपयोगी होती हैं। साथ ही इनके शोध और निदान में उपयोग पर भी प्रकाश डाला गया। वेबिनार में विद्यार्थियों ने स्टेनिंग प्रोटोकॉल और आधुनिक तकनीकों से जुड़े सवाल पूछे, जिनका विशेषज्ञों ने समाधान किया। प्रतिभागियों ने वेबिनार को अत्यंत ज्ञानवर्धक व प्रेरणादायी बताया। संरक्षक कुलपति प्रो. पीके दशोरा रहे। संयोजक डीन अकादमिक प्रो. राजीव शर्मा व सह संयोजक विभागध्यक्ष मीनाक्षी बिष्ट रही। समन्वयक आकाशदीप सिंह व शुभम पुनेरा थे। धन्यवाद ज्ञापन सैयद रसीद अंद्राबी ने दिया।

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