Hamara Hathras

12/09/2024 8:12 pm

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नई दिल्ली 12 सितंबर । घरेलू शेयर मार्केट में आज दोपहर दो बजे बाद जबरदस्त तेजी देखने को मिली। सेंसेक्स और निफ्टी में करीब दो फीसदी तेजी आई। अमेरिका में महंगाई के आंकड़ों के बाद फेडरल रिजर्व के ब्याज दरों में 25 आधार अंकों की कटौती की संभावना मजबूत हुई है। इससे घरेलू इक्विटी में विदेशी निवेश बढ़ने की उम्मीदें बढ़ीं हैं। बीएसई सेंसेक्स कारोबार के दौरान 1500 अंक से अधिक तेजी के साथ 83,000 अंक से ऊपर पहुंच गया। पहली बार सेंसेक्स 83,000 अंक पर पहुंचा है। इसी तरह निफ्टी 50 भी करीब 500 अंक चढ़कर 25,000 अंक के पार पहुंच गया। इस तेजी से बीएसई पर लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप 6.6 लाख करोड़ रुपये बढ़कर 467.36 लाख करोड़ रुपये हो गया। अंत में सेंसेक्स 1439.55 यानी 1.77% तेजी के साथ 82,962.71 अंक पर बंद हुआ। निफ्टी 470.45 अंक यानी 1.89 फीसदी तेजी के साथ 25,388.90 अंक पर बंद हुआ। सेंसेंक्स में आई तेजी में भारती एयरटेल, रिलायंस इंडस्ट्रीज, एचडीएफसी बैंक और इन्फोसिस की करीब 500 अंक की हिस्सेदारी रही। साथ ही लार्सन एंड टुब्रो, महिंद्रा एंड महिंद्रा, एनटीपीसी, आईसीआईसीआई बैंक और एसबीआई के शेयरों में भी अच्छी तेजी रही। आईटी कंपनियों के रेवेन्यू का एक बड़ा हिस्सा अमेरिका से आता है। उनके शेयरों में 1% की बढ़ोतरी हुई। इसके अतिरिक्त, निफ्टी बैंक, ऑटो, वित्तीय सेवाएं, स्वास्थ्य सेवा और तेल एवं गैस से जुड़े शेयरों में भी एक फीसदी तेजी आई। भारती एयरटेल का शेयर चार फीसदी तेजी के साथ ऑल-टाइम हाई पर पहुंच गया। कंपनी का कहना है कि उसने जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के सभी 22 जिलों में होम वाई-फाई सर्विस शुरू कर दी है। एचडीएफसी बैंक के शेयरों में एक फीसदी से ज्यादा तेजी आई है जबकि रिलायंस इंडस्ट्रीज का शेयर करीब दो फीसदी उछला है।

क्यों आई तेजी

आंकड़ों के मुताबिक अगस्त में अमेरिका में उपभोक्ता कीमतों में मामूली वृद्धि हुई लेकिन महंगाई में कुछ स्थिरता दिखी। सीएमई फेडवॉच के अनुसार इससे 18 सितंबर को फेड द्वारा ब्याज दरों में 25 आधार अंकों की कटौती की संभावना 66% से बढ़कर 85% हो गई है। इस कटौती से घरेलू इक्विटी में विदेश निवेश बढ़ने का रास्ता साफ हो गया है। यही वजह है कि घरेलू मार्केट में तेजी आई है। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के चीफ इनवेस्टमेंट स्ट्रैटजिस्ट वी के विजकुमार ने कहा कि अमेरिका में महंगाई के आंकड़े बाजार के लिए पॉजिटिव रहे हैं। इससे सितंबर में फेड रिजर्व के रेट कट का रास्ता साफ हुआ है।

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