
हाथरस 22 दिसंबर । कृषि विज्ञान केंद्र में आज ‘उर्वरकों का दक्ष एवं संतुलित उपयोग’ विषय पर एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का सफल आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ केंद्र के प्रभारी डॉ. ए.एच. वारसी द्वारा किया गया। प्रशिक्षण का मुख्य उद्देश्य किसानों को मिट्टी की उर्वरता बनाए रखते हुए कम लागत में अधिक उत्पादन प्राप्त करने के आधुनिक एवं वैज्ञानिक तरीकों से अवगत कराना रहा। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता डॉ. बलवीर सिंह ने उर्वरकों के अंधाधुंध प्रयोग से मिट्टी की संरचना पर पड़ने वाले दुष्प्रभावों और पर्यावरणीय नुकसान के प्रति किसानों को जागरूक किया। उन्होंने बताया कि उर्वरकों के संतुलित उपयोग से न केवल मृदा स्वास्थ्य बेहतर रहता है, बल्कि खेती की लागत में कमी आती है और फसल की गुणवत्ता व उत्पादकता में भी उल्लेखनीय सुधार होता है। प्रशिक्षण के दौरान विशेषज्ञों की टीम ने किसानों की शंकाओं का समाधान किया और सॉइल हेल्थ कार्ड की सिफारिशों के अनुसार ही उर्वरकों के प्रयोग पर विशेष जोर दिया। इस अवसर पर डॉ. अकांक्षा सिंह, डॉ. विकास कुमार यादव, डॉ. शैलजा देवी एवं कुलदीप सहित अन्य सहायक स्टाफ ने सक्रिय भूमिका निभाई। कार्यक्रम में क्षेत्र के कुल 30 प्रगतिशील किसानों ने प्रतिभाग किया, जिनमें 23 पुरुष एवं 7 महिला किसान शामिल रहीं। वैज्ञानिकों ने महिला किसानों को कृषि प्रबंधन में आगे बढ़कर नेतृत्व करने के लिए विशेष रूप से प्रोत्साहित किया। कार्यक्रम के समापन पर डॉ. शैलजा देवी ने सभी प्रतिभागियों का आभार व्यक्त करते हुए किसानों से प्रशिक्षण में प्राप्त जानकारी को व्यवहार में लाकर अधिक लाभ उठाने की अपील की।












