हाथरस 18 अप्रैल । मानव अधिकारों के संरक्षण और संवर्धन के लिए कार्य कर रही संस्था एसोसिएशन ऑफ डेमोक्रेटिक ह्यूमन राइट्स (एडीएचआर) ने एक बार फिर मानवता की मिसाल पेश की। संस्था की देखरेख में समाजसेवी सुनीत आर्य के नेतृत्व में एक अज्ञात शव का हिंदू रीति-रिवाजों के अनुसार अंतिम संस्कार किया गया। घटना 15 अप्रैल की है जब ग्राम मिढावली, यमुना एक्सप्रेसवे के पास एक कंडे के ढेर में जलता हुआ शव मिला। ग्राम प्रधान राजेश कुमार द्वारा पुलिस को सूचना दी गई, जिसके बाद कोतवाली सादाबाद पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने शव को पहचान के लिए 72 घंटे तक संरक्षित रखा, परंतु पहचान न होने पर शव को लावारिस घोषित कर पोस्टमार्टम कराया गया।
इसके उपरांत पुलिस ने समाजसेवी सुनीत आर्य एवं प्रवीण वार्ष्णेय (राष्ट्रीय महासचिव, एडीएचआर) से संपर्क कर अंतिम संस्कार में सहयोग मांगा। एडीएचआर के जिला उपाध्यक्ष हर्ष मित्तल के सहयोग से शव का विधिवत दाह संस्कार कराया गया। इस अवसर पर एनएसएस अध्यक्ष सुनील अग्रवाल, आयोग दीपक, बंटी भाई कपड़े वाले, सतेन्द्र मोहन, दीपांशु वार्ष्णेय, अंकित कुमार, कांस्टेबल फिरोज खान एवं कांस्टेबल अनिल कुमार सहित कई लोग मौजूद रहे। यह कार्य समाज को यह संदेश देता है कि मानवता धर्म से ऊपर है, और हर व्यक्ति को सम्मानजनक विदाई मिलनी चाहिए—चाहे वह पहचाना गया हो या नहीं।