
हाथरस 19 दिसंबर । सड़क सुरक्षा एवं शीत लहर के दृष्टिगत यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखने के उद्देश्य से जिलाधिकारी अतुल वत्स ने अलीगढ़–आगरा नेशनल हाईवे पर हतीसा पुल से अलीगढ़ सीमा तक निरीक्षण कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया। निरीक्षण के दौरान उन्होंने यातायात संचालन, सुरक्षा उपायों एवं वर्तमान परिस्थितियों का गहन अवलोकन किया। जिलाधिकारी ने संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया कि कोहरे एवं शीत लहर के दौरान यातायात संचालन में विशेष सतर्कता बरती जाए। हाईवे पर संकेतक बोर्ड, रिफ्लेक्टर, बैरिकेडिंग एवं प्रकाश व्यवस्था को दुरुस्त रखा जाए तथा पुलिस व यातायात कर्मियों की पर्याप्त तैनाती सुनिश्चित की जाए। दुर्घटना संभावित स्थलों पर अतिरिक्त निगरानी रखते हुए त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए गए। साथ ही वाहन चालकों को सुरक्षित गति से वाहन चलाने, फॉग लाइट एवं डिपर के समुचित प्रयोग के प्रति जागरूक करने के निर्देश भी दिए गए। किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए एम्बुलेंस, टोइंग वाहन एवं राहत सेवाओं को तत्पर रखने को कहा गया। निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने नेशनल हाईवे अथॉरिटी के प्रभारी को निर्देश दिए कि हाईवे पर सफेद पट्टी (रोड मार्किंग) स्पष्ट रूप से अंकित कराई जाए तथा सुरक्षा की दृष्टि से पर्याप्त रिफ्लेक्टर लगाए जाएं। साथ ही फुटपाथ की साफ-सफाई एवं सुचारू रखरखाव सुनिश्चित कराने के निर्देश दिए गए, ताकि यातायात व्यवस्था सुरक्षित एवं सुगम बनी रहे।
जिलाधिकारी ने दुकानदारों से वार्ता कर शीत लहर के दृष्टिगत अलाव की व्यवस्थाओं की जानकारी ली और निर्देश दिए कि दुकानों के सामने वाहनों को खड़ा न कराया जाए। उन्होंने अधिकारियों को भी निर्देशित किया कि रात्रि के समय कोई भी वाहन सड़क के किनारे अनियंत्रित रूप से खड़ा न हो तथा वाहन केवल निर्धारित एवं सुरक्षित स्थानों पर ही खड़े किए जाएं, जिससे दुर्घटनाओं की संभावना रोकी जा सके। भ्रमण के दौरान जिलाधिकारी ने अलीगढ़–आगरा हाईवे स्थित लहरा एवं सासनी क्षेत्र में संचालित ईंट भट्टों का भी निरीक्षण किया। उन्होंने भट्टा संचालकों से श्रमिकों के लिए की गई व्यवस्थाओं की जानकारी ली तथा श्रमिकों से संवाद कर उनके मूल निवास स्थान की जानकारी प्राप्त की। साथ ही 0 से 5 वर्ष आयु वर्ग के बच्चों को पोलियो की दवा पिलाए जाने की स्थिति का भी जायजा लिया। निरीक्षण में कुछ बच्चों को पोलियो की दवा न पिलाए जाने पर जिलाधिकारी ने तत्काल मुख्य चिकित्सा अधिकारी को निर्देश दिए कि टीम भेजकर ईंट भट्टों पर कार्यरत श्रमिकों के बच्चों को पोलियो की खुराक दिलाई जाए। इसके साथ ही जिलाधिकारी ने भट्टा संचालकों को निर्देश दिए कि श्रमिकों के बच्चों का पंजीकरण नजदीकी आंगनबाड़ी केंद्र एवं प्राथमिक विद्यालयों में कराया जाए तथा श्रमिकों को श्रम कानूनों के अंतर्गत निर्धारित सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं। किसी भी प्रकार की लापरवाही पाए जाने पर श्रम कानूनों के तहत कार्रवाई की चेतावनी दी गई।शीत लहर को देखते हुए जिलाधिकारी ने ईंट भट्टों पर कार्यरत श्रमिकों को कंबल वितरित किए तथा भट्टा संचालकों को श्रमिकों एवं उनके बच्चों के लिए ऊनी वस्त्र सहित ठंड से बचाव की समुचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए। इस दौरान काली फिल्म लगे वाहनों की भी जांच कराई गई। इसके अतिरिक्त प्राथमिक विद्यालय रुहेरी के पास जरूरतमंद लोगों को कंबल ओढ़ाकर ठंड से राहत पहुंचाई गई। निरीक्षण के समय अपर जिलाधिकारी (वित्त/राजस्व), उप जिलाधिकारी सासनी, अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग, खंड विकास अधिकारी, प्रभारी अधिकारी एनएचएआई सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।












