
हाथरस 27 नवंबर । महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा संचालित बच्चों और महिलाओं के हितार्थ योजनाओं की जिला टास्क फोर्स समीक्षा बैठक कलेक्ट्रेट सभागार में जिलाधिकारी अतुल वत्स की अध्यक्षता में आयोजित की गई। जिलाधिकारी ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि महिला एवं बच्चों की सुरक्षा, संरक्षण और अधिकारों से जुड़ी योजनाओं में किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरती जाए और योजनाओं का प्रभावी, पारदर्शी एवं समयबद्ध क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाए। बैठक में निराश्रित महिला पेंशन योजना, मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना, आपकी सखी/वन स्टॉप सेंटर योजना, उ.प्र. मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना (सामान्य एवं कोविड-19), मिशन वात्सल्य योजना, प्रवर्तकता योजना, बाल कल्याण समिति, किशोर न्याय बोर्ड और चाइल्ड हेल्पलाइन सहित सभी योजनाओं की प्रगति की समीक्षा की गई। जिलाधिकारी ने लंबित प्रकरणों का शीघ्र निस्तारण, पात्र लाभार्थियों को समय पर लाभ पहुंचाना, बाल विवाह रोकथाम, बच्चों के पोषण, स्वास्थ्य एवं शिक्षा की उच्च गुणवत्ता सुनिश्चित करना और वन स्टॉप सेंटर तथा चाइल्ड हेल्पलाइन पर त्वरित सहायता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने जिला प्रोबेशन अधिकारी को आय, जाति और मृत्यु प्रमाण पत्रों की गहन जांच करने, लाभार्थियों की सत्यापन प्रक्रिया को मजबूत करने तथा बाल विवाह रोकथाम के लिए सक्रिय टीमों को सशक्त बनाने के निर्देश भी दिए।
बैठक में प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत की गई जिसमें मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत 19,430 लाभार्थियों को लाभान्वित किया जा चुका है, निराश्रित महिला पेंशन योजना में 2,149 लाभार्थियों को चतुर्थ किस्त भुगतान की जा चुकी है, बाल सेवा योजना के तहत 858 बच्चों को स्वीकृति प्रदान की गई है, तथा इस वित्तीय वर्ष में अब तक सात बाल विवाह रोके गए हैं। जिलाधिकारी ने सभी विभागों से जनकल्याणकारी योजनाओं के प्रचार-प्रसार और अधिक से अधिक लाभार्थियों तक योजना का लाभ पहुंचाने पर जोर दिया। बैठक में मुख्य विकास अधिकारी, जिला कार्यक्रम अधिकारी, जिला प्रोबेशन अधिकारी, जिला समाज कल्याण अधिकारी, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी, प्रभारी जिला विद्यालय निरीक्षक, प्रबंधक कौशल विकास मिशन, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी, महिला कल्याण अधिकारी एवं अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।











