हाथरस 17 अक्टूबर । दून पब्लिक स्कूल में आज प्रधानाचार्य जे. के. अग्रवाल के नेतृत्व एवं मार्गदर्शन में ब्रिटिश काउंसिल की “रीड्स परियोजना” के अंतर्गत “वैश्विक प्रकाश उत्सव: भारत, इज़राइल, चीन और सिंगापुर की त्योहार यात्रा” विषय पर एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन हुआ। कार्यक्रम का शुभारंभ शिक्षिका भावना शर्मा संग नन्हे-मुन्ने विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत मधुर गीत “हैप्पी दिवाली” से हुआ, जिसने पूरे वातावरण को उल्लास और उमंग से भर दिया। विद्यार्थियों ने भारत के महान ग्रंथ रामायण पर आधारित नाटक प्रस्तुत कर “अंधकार पर प्रकाश की विजय” का प्रेरक संदेश दिया। इसके पश्चात आयोजित “रामायण पोशाक प्रतियोगिता” में बच्चों ने भगवान राम, सीता, लक्ष्मण, हनुमान, सुग्रीव, रावण, भरत, लव-कुश और अन्य पात्रों की भूमिकाएँ निभाकर मंच पर रैंप वॉक किया। उनके मनमोहक संवादों और आत्मविश्वासपूर्ण प्रस्तुति ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। सांस्कृतिक कार्यक्रमों में गीत, भजन और नृत्य प्रस्तुतियों ने उत्सव के माहौल को और अधिक उल्लासमय बना दिया।
प्रधानाचार्य जे. के. अग्रवाल ने अपने प्रेरक उद्बोधन में कहा कि एक साथ मंच पर चारों देशों के प्रकाश उत्सवों का प्रदर्शन करना सही मायनों में ‘फेस्टिवल ऑफ लाइट्स’ की भावना को जीवंत करता है। इस परियोजना के माध्यम से हमने भारत, इज़राइल, चीन और सिंगापुर—चारों देशों को ‘प्रकाश’ की डोर से जोड़ने का प्रयास किया है। यह सांस्कृतिक एकता और वैश्विक सौहार्द का सुंदर प्रतीक है। उन्होंने विद्यार्थियों को संदेश दिया कि आओ, हम सब मिलकर अंधकार पर प्रकाश, बुराई पर अच्छाई और अज्ञान पर ज्ञान की विजय का उत्सव मनाएँ।
परियोजना के अंतर्गत कक्षा पहली और दूसरी के विद्यार्थियों ने चारों देशों के प्रकाश उत्सवों की संगीतमय झांकी प्रस्तुत की—
- भारत की दीवाली, जो दीपों से घर सजाने का पर्व है।
- इज़राइल की हनुक्का, जो आठ दिनों तक कैंडल जलाने का त्योहार है।
- चीन का लालटेन महोत्सव, जिसमें घरों को लालटेन से सजाया जाता है।
- सिंगापुर का ‘दीपावली सेलिब्रेशन एट लिटिल इंडिया’, जो विविधता में एकता का प्रतीक है।
इस अंतरराष्ट्रीय कार्यक्रम ने बच्चों में रचनात्मकता, आत्मविश्वास और सहयोग की भावना को सशक्त किया। सीनियर कोऑर्डिनेटर रीता शर्मा ने अपने स्वागत भाषण में कहा कि दीपावली प्रकाश का पर्व है, जो नन्हे-मुन्ने सितारों के जीवन में आनंद और खुशियों की नई किरणें भर देता है। परियोजना प्रभारी कोऑर्डिनेटर रीटा शर्मा एवं नम्रता अग्रवाल, इंचार्ज शिक्षिकाएँ शोभना शर्मा, राशी अग्रवाल, और शिक्षकों शिवांगी, मयूरी जादौन, भावना शर्मा, गरिमा राठी, छाया मिश्रा, अनुराग पाराशर, कपिल चंदेल, कपिल कुमार तथा ऋतिक अग्रवाल का विशेष योगदान सराहनीय रहा। कार्यक्रम का तकनीकी संचालन और प्रस्तुति प्रबंधन भी उत्कृष्ट रहा। यह आयोजन न केवल भारतीय संस्कृति की गरिमा का प्रतीक बना, बल्कि अंतरराष्ट्रीय मंच पर दून पब्लिक स्कूल के विद्यार्थियों की प्रतिभा, रचनात्मकता और वैश्विक दृष्टिकोण को उजागर करता हुआ एक यादगार उत्सव साबित हुआ।