सिकंदराराऊ (हसायन) 04 अगस्त । कोतवाली क्षेत्र के गांव नगला मधुकर में शनिवार देर रात उस समय हड़कंप मच गया जब गांव के कुछ ग्रामीणों ने राजवाहा बम्बा की पटरी पर एक संदिग्ध चार पहिया वाहन खड़ा देखा। ग्रामीणों के अनुसार कार में कुछ अज्ञात युवक मौजूद थे, जो उन्हें आते देख कार की खिड़कियां तेजी से बंद कर अंधेरे का फायदा उठाकर फरार हो गए। घटना रात करीब 12 बजे की है। ग्रामीणों ने तत्परता दिखाते हुए तुरंत डायल 112 और जरेरा पुलिस चौकी को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और संदिग्ध हालत में खड़ी दिल्ली नंबर की कार को कब्जे में लेकर चौकी ले आई।
पुलिस पर बिना जांच के कार छोड़ने का आरोप
रविवार सुबह जब ग्रामीण जानकारी के लिए पुलिस चौकी पहुंचे, तो उन्हें पता चला कि कार को बिना किसी विधिक कार्रवाई के छोड़ दिया गया है। इस पर ग्रामीणों में नाराजगी फैल गई। ग्रामीणों का आरोप है कि बिना जांच के कार को छोड़ना पुलिस की लापरवाही है। अगर रात में कोई आपराधिक वारदात होती तो जिम्मेदार कौन होता? ग्रामीण नासिर, अवनीश, दीपक और रुद्रप्रताप समेत कई लोगों ने बताया कि उन्होंने खुद संदिग्ध कार को देखा और पुलिस को सूचना दी थी। लेकिन पुलिस ने उन्हें बिना सूचना दिए ही कार को छोड़ दिया।
पुलिस की सफाई
इस मामले में जरेरा चौकी प्रभारी धर्मेन्द्र गोस्वामी का कहना है कि कार सवार लोग दिल्ली से किसी पारिवारिक कार्यक्रम में आए थे। उनके एक रिश्तेदार का वाहन कहीं फंस गया था, जिसकी तलाश में वे राजवाहा की पटरी तक पहुंचे। रात में अफरा-तफरी में कार वहीं छोड़कर चले गए थे। बाद में जांच के बाद कार को छोड़ दिया गया।
ग्रामीणों की मांग
ग्रामीणों ने इस प्रकरण की निष्पक्ष जांच और पुलिस की भूमिका की समीक्षा की मांग की है। उनका कहना है कि अगर समय रहते ग्रामीण सतर्क न होते तो कोई बड़ी घटना हो सकती थी।