सिकंदराराऊ (हसायन) 30 अगस्त । विकासखंड क्षेत्र की ग्राम पंचायत अमौसी के माजरा करमपुर में ग्राम पंचायत के जिम्मेदारों के द्वारा कराए गए नाली निर्माण के कार्य में मानक के अनुरूप सामिग्री घटिया स्तर की पीला दर्जे की नई एवं तमाम पुरानी ईट से कार्य कराए जाने की ग्रामीणों के द्वारा की गई शिकायत के आधार पर जांच टीम के द्वारा ग्राम पंचायत के जेई को एमबी व भुगतान नही करने पर जांच टीम के द्वारा निर्देशित कर दिया गया।उक्त मामले की जानकारी जब ग्राम प्रधान महिला के पुत्र वर्तमान बतौर ग्राम पंचायत सदस्य निर्माण कार्य अध्यक्ष का जिम्मा संभाल रहे युवक के द्वारा खंड विकास अधिकारी कार्यालय पर पहुंचकर खंड विकास अधिकारी पशु चिकित्साधिकारी डॉ.पी.के.सिंह से एमबी नही करने व भुगतान पर रोक लगाने के लिए जारी किए गए पत्र पर ऐतराज जताते हुए कहने लगा कि आखिर पंचायत राज विभाग के अधिनियम एक्ट में कौन सा नियम बना है कि खंड विकास अधिकारी नाली के निर्माण के उपरांत भुगतान पर रोक लगा सके।ग्राम पंचायत सदस्य युवक ने खंड विकास अधिकारी से कहा कि वह मजबूरन न्यायालय की शरण लेने के लिए मजबूर होगा। इस दौरान खंड विकास अधिकारी डॉ.पी.के.सिंह युवक से कहते हुए सुनाई व दिखाई दिए कि उन्हे नही पता कि आखिर कार्य भुगतान रोकने के पत्र किसने जारी किया था और उस पर मेरे साइन हो गए।हालांकि इस मामले में आनलाइन सोनू करमपुर सहित अन्य लोगो के द्वारा आनलाइन शिकायत करते हुए ग्राम पंचायत अध्यक्ष महिला प्रधान पर पीला ईट व पुरानी ईट लगाने का आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज कराई थी।इस संबंध में ब्लाक स्तर से करमपुर में सहायक विकास अधिकारी एडीओ पंचायत प्रेमकिशोर व एडीओ आईएसबी भूपेन्द्र सिंह को जांच मिली। जांच के दौरान दो सदस्यीय टीम ने अमौसी करमपुर पहुंचकर ग्राम पंचायत के शिकायतकर्ताओ के सामने निर्माण कार्य की जांच की गई तो उन्हे नाली के निर्माण कार्य में पुरानी ईट व निचले घटिया स्तर की ईटें लगी हुई मिली थी।दो सदस्यीय टीम ने उक्त मामलें की जांच रिपोर्ट लगाकर खंड विकास अधिकारी से एमबी व भुगतान नही करने की संस्तुति की थी।इस संबंध में एडीओ पंचायत प्रेमकिशोर यादव ने बताया कि उन्होने ग्राम पंचायत अमौसी करमपुर के लोगो की आनलाइन शिकायत के संदर्भ में जांच की ताे निर्माण कार्य नाली में पुरानी व निचले स्तर की ईट लगी हुई मिली तो उन्होने अपनी रिपोर्ट खंड विकास अधिकारी को सौंप दी।